मुझे कहां से चुनाव लड़ना है यह मैं नहीं पार्टी तय करेगी : सिंधिया -। पत्रकारवार्ता में भाजपा पर किए तीखे हमले, देश को तोड़ने का लगाया आरोप।।। जबकि मध्यप्रदेश के नये नवेले सीएम श्री नाथ ने तो साफ कह दिया कि सिंधिया अपने संसदीय मुख्य गढ़ से चुनाव लड़ेंगे # अब यह फरमान को क्या समझा जाये।
शिवपुरी। सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया ने गुना शिवपुरी लोकसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ने के सीधे संकेत नहीं दिए। उन्होंने कहा कि मुझे कहां से चुनाव लड़ना है यह मैं नहीं बल्कि पार्टी तय करेगी। पार्टी चाहे मुझे गुना शिवपुरी, चाहे ग्वालियर, मुरैना या मालवा अंचल की किसी भी सीट से चुनाव लड़ाए मैं तैयार हूं। पत्रकारों से चर्चा करते हुए श्री सिंधिया ने भाजपा सरकार पर तीखे हमले बोले और कहा कि भाजपा की सोच और विचारधारा देश को तोड़ने और नष्ट करने की है जबकि कांग्रेस की विचारधारा देश को बनाने की है और हम देश को टूटने नहीं देंगे।।
बॉम्बे कोठी पर पत्रकारों ने जब चर्चा के दौरान श्री सिंधिया से पूछा कि वह कहां से चुनाव लड़ेेंगे। क्या वह गुना शिवपुरी से चुनाव में उतरेंगे? इस पर श्री सिंधिया ने कहा कि यह तय करना पार्टी आलकमान का काम है।।
वह जहां से आदेश देगी मैं चुनाव लड़ूंगा। उन्होंने कहा कि गुना शिवपुरी, ग्वालियर , मुरैना, भिण्ड और मालवा से मेरे रिश्ते राजनैतिक नहीं बल्कि व्यक्तिगत हैं। वहां के लोगों से भी मैं राजनीति से नहीं बल्कि व्यक्तिगत रूप से जुड़ा हुआ हूं। श्री सिंधिया ने इस बात से इंकार किया कि मैं राजनीति में हूं। उन्होंने कहा कि मैं राजनीति में नहीं बल्कि जनसेवा में हूं और अपने पिता की तरह विकास और प्रगति में विश्वास करता हूं। विधानसभा चुनाव में जनता ने हम पर विश्वास किया है और अब उस विश्वास पर खरा उतरना हमारी जिम्मेदारी है। पत्रकारों ने जब उनसे पूछा कि कांग्रेस घोषणा पत्र में मुस्लिम तुष्टिकरण तथा देशद्रोह की धारा हटाने के बारे में आप कुछ कहेंगे तो श्री सिंधिया ने कहा कि आप ऐसे मुद्दे क्यों ढूंढते हैं जिसे आप टिवस्ट कर सकें और जिनके जरिए आप अपनी टीआरपी बढ़ा सकें। घोषणा पत्र में कई सकारात्मक बातें हैं उनके बारे में क्यों नहीं बात करते।
सिंधिया ने कहा कि घोषणा पत्र में कांग्रेस ने न्यूनतम आय योजना की बात की है जिससे गरीब व्यक्ति की न्यूनतम आय 72 हजार रूपए साल होगी जिससे गरीब से गरीब व्यक्ति को भी सम्मानपूर्वक जीवन जीने का हक मिल सके। श्री सिंधिया ने कहा कि कांग्रेस ने किसानों का कर्जा माफ किया है जबकि भाजपा ने किसानों का नहीं बल्कि उद्योगपतियों का कर्जा माफ किया है। भाजपा सरकार संस्थाओं को लगातार कमजोर करने में लगी हुई है। कांग्रेस ने घोषणा की है कि सत्ता में आने के बाद सर्वोच्च न्यायालय को संवैधानिक दर्जा दिया जाएगा ताकि कोई सरकार उनकी कार्यप्रणाली में हस्तक्षेप न कर सके। भाजपा देश को मिटाना चाहती है जबकि कांग्रेस देश को बढ़ाना चाहती है।

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